Ticker

6/recent/ticker-posts

विजयसिंह पथिक के जीवन पर विचार गोष्ठी आयोजित

विजयसिंह पथिक के जीवन पर विचार गोष्ठी आयोजित

अजमेर (अजमेर मुस्कान)।
अखिल भारतीय गुर्जर महासभा के तत्वावधान में भूणाभाय घूघरा अजमेर स्थित गुर्जर छात्रावास में रविवार 26 मई को स्वाधीनता सेनानी विजयसिंह पथिक के जीवन पर विचार गोष्ठी आयोजित की गई। इस अवसर पर आयोजित विचार गोष्ठी को संबोधित करते हुए मुख्य वक्ता अखिल भारतीय गुर्जर महासभा के अध्यक्ष डॉ. यशवीर सिंह ने कहा कि पथिक ने सामंती ताकतों से टक्कर लेकर उन्हे पहली बार जनशक्ति का बोध कराया। उन्होंने क्रांतिकारी गतिविधियों में संलग्न होकर आजादी के लिए संघर्ष किया। डॉ. यशवीर ने पथिक को रियासती जनता का पहला सिपहसालार बताया। उन्होंने आगामी 27 फरवरी 2025 को पथिक जी की 143 वी जन्म जयंती को अजमेर गुर्जर समाज द्वारा भव्य रूप से मनाने एवं प्रदेश के गुर्जर समाज के लोग अधिक से अधिक संख्या में शामिल होकर  पथिक जयंति को भव्य रूप देने एवं इसी दिन गुर्जर छात्रावास का शिलान्यास करने  का आवाहन किया। इस अवसर पर अखिल भारतीय गुर्जर महासभा के अध्यक्ष डॉक्टर यशवीर सिंह ने गुर्जर छात्रावास में कक्ष निर्माण की घोषणा भी की । जिसका शिलान्यास आगामी पथिक जयंती पर किया जाएगा। 28 मई  को बिजौलिया में आयोजित पथिक जी की 70 वी पुण्यतिथि को भव्य रूप देने हेतु श्री पुरुषोत्तम फागना प्रदेशाध्यक्ष अखिल भारतीय गुर्जर महासभा 27 मई को बिजौलिया पहुँच जाएंगे। अजमेर जिले से भी समाज के लोग पुष्पांजलि/श्रधांजलि अर्पित करने हेतु बिजौलिया जायेंगे।

अखिल भारतीय गुर्जर महासभा के राष्ट्रीय सचिव एवं सेवानिवृत्त अतिरिक्त जिला कलेक्टर रामसुख गुर्जर मसूदा ने  कहा कि बिजौलिया किसान आंदोलन के माध्यम से पथिक ने किसानों की प्रमुख समस्याओं का निराकरण किया तथा किसानों की  आवाज को देशभर में बुलंद की। लोकतंत्रीय राजस्थान की नींव में विजयसिंह पथिक का महत्वपूर्ण योगदान था। पथिक जी ने पत्रकारिता के माध्यम से जनता की आवाज को बुलंदगी प्रदान की। पथिक को देशभक्ति का जज़्बा अपने दादा और पिता से मिला। अंग्रेजों एवं सामंतवाद के खिलाफ बुलन्दगी से आवाज उठाई। पथिक का  परिवार 1857 की क्रांति से लेकर आजादी तक देश की सेवा में लगा रहा। 

अखिल भारतीय गुर्जर महासभा के प्रदेश उपाध्यक्ष अधिवक्ता हरि सिंह गुर्जर ने बताया कि कार्यक्रम की शुरुआत उनकी प्रतिमा पर माल्यार्पण कर की। हरि सिंह गुर्जर ने भी पथिक जी की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए कहा कि विजय सिंह पथिक की जीवन शैली, उनका व्यक्तित्व एवं कृतित्व सभी के लिए प्रेरणादायी है। इसके बाद पथिक जी जीवनी पर प्रकाश डाला। देवसेना सचिव भोमराज गुर्जर ने कहा कि राष्ट्र की आजादी में तथा बिजोलिया के किसान सत्याग्रह में विजयसिंह पथिक का महत्वपूर्ण योगदान रहा है। इस अवसर पर देवकरण, लाल गुर्जर,  रामकरण, महादेव, अर्जुन, काना, नारायण गांगल, भंवर, बाबू खटाना एवं समाज के लगभग 200 गणमान्य लोग इस विचार गोष्ठी में उपस्थित रहे।

एक टिप्पणी भेजें

0 टिप्पणियाँ