अजमेर (अजमेर मुस्कान) । प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने गुरूवार वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए विकसित भारत संकल्प यात्रा के लाभार्थियों से संवाद किया। इस आयोजन में देश भर के विकसित भारत संकल्प यात्रा के हजारों लाभार्थी शामिल हुए।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा है कि पिछले दस वर्ष में, जनकल्याणकारी योजनाओं के लाभार्थियों के जीवन में बदलाव आया है। वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से प्रधानमंत्री ने विकसित भारत संकल्प यात्रा के लाभार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि यह यात्रा सरकारी योजनाओं का लाभ सुनिश्चित करती है। यह यात्रा दूरदराज के क्षेत्रों में भी पहुंच रही है और लोगों को एकजुट कर रही है। प्रधानमंत्री ने इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए देश की जनता, विशेषकर महिलाओं का आभार प्रकट किया। मोदी ने लाभार्थियों को संबोधित करते हुए कहा कि सरकार का प्रयास है कि सहकारिता, ग्रामीण जीवन का मजबूत पक्ष बने। 'एक जिला एक उत्पाद' पहल लोगों के जीवन में समृद्धि लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभायेगी। उन्होंने स्थानीय उत्पादों को महत्व दिए जाने पर बल दिया। प्रधानमंत्री ने कहा कि एक करोड़ से अधिक आयुष्मान कार्ड वितरित किए गए हैं और सवा करोड़ लोगों की स्वास्थ्य जांच की गई है। उन्होंने कहा कि दस करोड़ महिलाएं स्व-सहायता समूहों से जुड़ी हैं और उन्हें बैंकों से साढ़े सात लाख करोड़ रुपए मिले हैं। मोदी कहा कि लगभग पचास दिन पूर्व शुरू हुई यह यात्रा देश के लाखों गांवों तक पहुंच चुकी है। यात्रा की शुरुआत के बाद उज्ज्वला गैस कनेक्शन के लिए साढ़े चार लाख नए आवेदन मिले हैं। उन्होंने कहा कि उनका लक्ष्य देश की दो करोड़ महिलाओं को लखपति बनाने का है।15 हजार नमो ड्रोन स्वयं सहायता समूह के माध्यम से उपलब्ध करवाए जाएंगे। देशभर से विकसित भारत संकल्प यात्रा के हजारों लाभार्थी इस कार्यक्रम में शामिल हुए। अजमेर तोपदड़ा स्कूल में आयोजित कार्यक्रम में सांसद भागीरथ चौधरी, विधानसभा अध्यक्ष वासुदेव देवनानी, महापौर ब्रजलता हाड़ा, विधायक (दक्षिण विधानसभा क्षेत्र) अनिता भदेल, नगर निगम आयुक्त सुशील कुमार सहित जनप्रतिनिधि एवं अधिकारी मौजूद रहे।
पांच लाभार्थियों से किया संवाद
पीएम मोदी ने त्रिपुरा के अर्जुन, मध्यप्रदेश देवास की रूबिना खान, उत्तराखण्ड हरिद्वार के भूदेव सिंह, तमीलनाडू के एक किसान और राजस्थान कोटा की सपना प्रजापति से संवाद करते हुए उनकी सफलता की कहानी जानी। संवाद करने वाले लाभार्थियों का उत्साह देखते हुए बन रहा था।
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