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सम्भागीय आयुक्त ने ली फ्लैगशिप योजनाओं की समीक्षा पर बैठक

सम्भागीय आयुक्त ने ली फ्लैगशिप योजनाओं की समीक्षा पर बैठक

कानून एवं शान्ति व्यवस्थाओं पर हुई चर्चा

अजमेर (अजमेर मुस्कान)। सम्भागीय आयुक्त श्री सी.आर.मीणा ने फ्लैगशिप योजनाओं की प्रगति पर सम्बन्धित विभाग के अधिकारियों के साथ से समीक्षा की तथा कानून एवं शान्ति व्यवस्था पर चर्चा की। बैठक में फ्लेगशिप योजनाओं की प्रगति पर चर्चा की गई। उड़ान योजना में सेनिटरी पेड्स का वितरण समय पर एवं अधिकाधिक संख्या में करने के निर्देश दिए गए। साथ ही पालनहार योजना के अन्तर्गत लाभार्थियों को राशि समय पर मिलने सुनिश्चित किया जाए।

उन्होंने कहा कि स्कूलों में छात्र-शिक्षक अनुपात उचित रखना सुनिश्चित करें। संविदा पर लगे शिक्षकों को नियुक्त करे। शिक्षा के साथ समझौता करना एक सामाजिक कमजोरी को जन्म देता है। स्कूल ड्रेस वितरण योजना के तहत शत प्रतिशत ड्रेस वितरण होना सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। अनुप्रति कोचिंग योजना का लाभ जरूरतमन्द  विद्याथी्र को मिलना सुनिश्चित करवाया जाए।

उन्होंने कहा कि क्षेत्र में कानून एवं शान्ति व्यवस्था को लेकर बाल यौन शोषण रोकने के लिए प्रभावी कार्यवाही करने के निर्देश दिए। बालिकाओं को बहला फुसला हो रहे दुराचार की घटनाओं पर शिक्षा विभाग, समेकित बाल विकास विभाग, महिला अधिकारिता एवं अन्य विभागों  के अधिकारियेां के साथ विचार विमर्श किया।

उन्होंने कहा कि आज के परिपेक्ष्य में बाल यौन शोषण के बारे में हर बच्चे को जागरूक करने का उद्देश्य सामने रखना होगा। शिक्षा विभाग को बालक-बालिकाओं को गुड टच और बैड टच तथा शारीरिक सुरक्षा के बारे में जागरूक करना होगा। साथ ही उन्हें इससे सम्बन्धित सख्त कानून की भी जानकारी देनी होगी।

उन्होंने कहा कि बाल अपराध को लेकर जागरूकता के लिए जिला कलक्टर की अध्यक्षता में एक कमेटी गठित करने के लिए निर्देशित किया गया। इसमें शिक्षा विभाग समेकित बाल विकास विभाग, महिला अधिकारिता विभाग, पुलिस तथा अन्य विभागों को शामिल किया जाएगा। इस सम्बन्ध में कर्मचारियों अधिकारियों को प्रशिक्षण दिया जाएगा। प्रशिक्षित व्यक्ति स्कूल तथा कॉलेजों में तीन दिवसीय प्रशिक्षण एवं काउंसलिंग की करेंगे। ब्लॉक स्तर पर भी स्कूलों में छात्र-छात्राओं को यौन अपराध पर जागरूक किया जाएगा। बाल अपराध पर जागरूकता के लिए नुक्कड नाटक तथा होडिंग्स जन जागरूकता पैदा की जाए।

उन्होंने कहा कि नाबालिग बच्चिया अनजान व्यक्ति से सम्पर्क में आने पर बहलावे में आ जाती है । वे मासूमियत से गलत राह पर चल देती है। एसे में उन्हें अपने माता-पिता की आज्ञा का पालन करना चाहिए। माता-पिता का परामर्श हमेशा बच्चों केे हित मेें होता है। माता-पिता को भी बच्चों की मानसिक स्थिति एवं भावनाओं पर विशेष ध्यान रखना चाहिए।

इस अवसर पर जिला कलक्टर डॉ. भारती दीक्षित, पुलिस अधीक्षक चूनाराम जाट, अतिरिक्त जिला कल्क्टर राजेन्द्र सिंह एवं अन्य विभागीय अधिकारी उपस्थित रहे।

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