उदयपुर-डेट रेलखंड के विद्युतीकरण कार्य को सीआरएस का अनुमोदन
अजमेर (Ajmer Muskan)। उत्तर पश्चिम रेलवे पर पर्यावरण अनुकूल विद्युतीकरण के कार्य तीव्र गति से किये जा रहे है। इस रेलवे पर विद्युतीकरण के कार्य को विगत वर्षों के बजट में प्राथमिकता प्रदान की गई है तथा सम्पूर्ण उत्तर पश्चिम रेलवे पर विद्युतीकरण का कार्य स्वीकृत हो गया है। उत्तर पश्चिम रेलवे पर अब तक 1857 किलोमीटर रेल लाइन पर विद्युतीकरण का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। उत्तर पश्चिम रेलवे के महत्वपूर्ण रेलखण्ड रेवाड़ी-अजमेर वाया फुलेरा तथा रेवाड़ी-अजमेर वाया जयपुर रेलखण्डों पर इलेक्ट्रिक ट्रेक्शन पर यात्री रेलसेवाओं का संचालन किया जा रहा है।
उत्तर पश्चिम रेलवे, अजमेर मंडल पर उदयपुर-डेट 115 किलोमीटर रेलखण्ड का विद्युतीकरण 133 करोड़ की लागत से किया गया है। इस रेलखंड को 19 दिसम्बर को रेलवे संरक्षा आयुक्त, पश्चिम सर्किल (CRS) आर के शर्मा द्वारा रेल संचालन के लिए अनुमोदित कर दिया गया है। दिनाँक 18.12.2020 को रेलवे संरक्षा आयुक्त, पश्चिम सर्किल (CRS) आर के शर्मा द्वारा मंडल रेल प्रबंधक नवीन कुमार परसुरामका सहित अन्य अधिकारियों की उपस्थिति में इस विद्युतीकृत मार्ग का निरीक्षण किया गया था।
इस विद्युतीकृत मार्ग के अनुमोदन पर प्रसन्नता व्यक्त करते हुए मंडल रेल प्रबंधक नवीन कुमार परसुरामका ने बताया कि इस मार्ग के विद्युतीकरण से राजस्थान के प्रमुख पर्यटक स्थल उदयपुर का जुड़ाव अजमेर, जयपुर तथा दिल्ली से इलेक्ट्रिक ट्रेक्शन से जुड जायेगा तथा इंजन चेंज करने में लगने वाले समय में कमी आयेगी।
यह रेलखंड इस क्षेत्र से दिल्ली की ओर जाने वाले मार्ग को पर्यावरण अनुकूल रेल परिवहन से जोड़ने में सहायक होगा।
विद्युतीकरण होने से यात्रियों को बहुत से फायदे होगे, जिनमें प्रमुख है-
1. ट्रेनों की औसत गति में वृद्धि
2. डीजल इंजन के धुएं से होने वाले प्रदुषण से मुक्ति
3. विद्युत इंजनों की लोड क्षमता अधिक होने के कारण अधिक भार वहन
4. अधिक ट्रेनों का संचालन संभव
5. वर्तमान में इलेक्ट्रीक ट्रेनों का उत्पादन अधिक होने व इनमें अत्याधुनिक टैक्नालॉजी के उपयोग के कारण अधिक सुविधाएं मिलना
6. ईंधन आयात पर निर्भरता में कमी
7.इलेक्ट्रीक गाड़ियों की परम्परागत गाड़ियों से faster acceleration/deacceleration के कारण इसकी औसत गति अधिक होती है एवं यह यात्रियों के लिये तीव्र व सुविधाजनक होती है।
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